'धीमी रफ्तार' में शिवहर होते हुए गुजरने वाले एक्सप्रेसवे : जमीन अधिग्रहण और वन विभाग की आपत्ति बना 'स्पीड ब्रेकर'
गरीब दर्शन/शिवहर
शिवहर; जहां विकास की दौड़ में पहले से ही पिछड़ा हुआ है, गोरखपुर से बिहार के चंपारण शिवहर सीतामढ़ी होते हुए सिलीगुड़ी जाने वाले एक्सप्रेसवे की स्वीकृति के बावजूद अपनी गति पकड़ने में असमर्थ दिख रहा है. केंद्र सरकार की मंजूरी के बावजूद इन परियोजना अभी काम शुरू नहीं हो पाया है. जमीन अधिग्रहण की जटिलताएं और वन विभाग की आपत्तियां, विकास की राह में रोड़ा बन रही हैं. सर्वेक्षण का काम भी अब तक अधूरा है, जिससे शिवहर के विकास का सपना अधर में लटका हुआ है.
एक्सप्रेसवे किसी भी शहर और राज्य के विकास की धुरी होते हैं. क्योंकि, यह न केवल यातायात को सुगम बनाता है, बल्कि व्यापार, उद्योग और पर्यटन को भी गति देता है. बेहतर कनेक्टिविटी से न सिर्फ आर्थिक गतिविधियों में तेजी आती है, बल्कि निवेशकों का भी विश्वास बढ़ता है, जो समग्र विकास में अहम भूमिका निभाता है. एनएचएआई के अनुसार बिहार में कुल 2,025 किलोमीटर लंबे 7 एक्सप्रेसवे का निर्माण किया जाना है. इनमें तीन एक्सप्रेसवे में गोरखपुर से पूर्वी चंपारण शिवहर सीतामढ़ी होते हुए सिलीगुड़ी जाने वाले एक्सप्रेसवे भी शामिल हैं। जिसकी स्वीकृति अभी हाल ही में केंद्र सरकार ने आम बजट में दी है. लेकिन, कई वजहों से निर्माण कार्य की प्रक्रिया आगे नहीं बढ़ रही है.
गोरखपुर सिलीगुड़ी एक्सप्रेसवेः उत्तर प्रदेश, बिहार और पश्चिम बंगाल को जोड़ने वाले एक्सप्रेसवे में बड़ा हिस्सा बिहार में बनना है. जमीन अधिग्रहण का पेच इसमें फंसा हुआ है. ऐसे सर्वे का काम पूरा हो चुका है. बिहार के 10 से ज्यादा जिलों से यह एक्सप्रेसवे गुजर रहा है. जिसमें गोपालगंज, पश्चिम चंपारण, मोतिहारी, पूर्वी चंपारण, शिवहर, सीतामढ़ी, दरभंगा, मधुबनी, सुपौल, फारबिसगंज, अररिया और किशनगंज शामिल हैं. कुल 607 किलोमीटर लंबे इस एक्सप्रेस वे का 416 किलोमीटर लंबा हिस्सा बिहार से गुजरेगा. करीब 32 हजार करोड़ रुपये की लागत से बनाया जा रहा है.
"जमीन अधिग्रहण एक बड़ी चुनौती है. सरकार को रास्ता निकालना होगा. वन विभाग की तरफ से भी आपत्ति होता है, इसके अलावा भी कई तरह की परेशानी है. लेकिन, सबसे सरकार को ही किसी तरीके से रास्ता निकालना होगा, क्योंकि विकास के लिए एक्सप्रेसवे आज की जरूरत है."- अजय झा, आर्थिक मामलों के जानकार बताते हैं कि क्या होता है एक्सप्रेसवेः एक्सप्रेसवे एक विशेष प्रकार का उच्च-गति वाला सड़क मार्ग है. तेज और सुरक्षित यातायात के लिए डिजाइन किया जाता है. आमतौर पर दोनों दिशाओं के लिए कई लेन होती हैं और बीच में एक डिवाइडर होता है. एक्सप्रेसवे पर इंटरसेक्शन या क्रॉसिंग नहीं होते, जिससे यात्रा में रुकावटें नहीं आतीं. यह हाईवे या फोर-लेन सड़कों से अलग है, जहां अक्सर इंटरसेक्शन, राउंडअबाउट और ट्रैफिक सिग्नल होते हैं जो गति और यात्रा के समय को प्रभावित करते हैं.।